यही पर है सब की पहचान,वोट तो एक बहाना है ।
आप सब से मिलने का, आसान तरीका ॥
आप की चाहत का, अंदाज लगाने का मैका ।
वोटो की चाहत से, रंगो की तलास करना ॥
मुद्दे की राजनीति, मात्र वहाना है ।
वोटों के जंग में, गाँव के लीडर महान कार्य करता है ॥
गाँव के लीडर का, मिलने का अंदाज निराला ।
आम जनता की, माँग की पहचान करता है ॥
गाँव के लीडर के, एक ही है राह ।
समय समय पर पिलाने, करता है काम ॥
पिलाने के बाद करता है, वादा ।
भूल मत जाना नेता जी, के पहचान ॥
आम जनता की निकलती है, आवाज ।
खाया पिया नेता जी का, नहीं भूलूगा उनकी पहचान ॥
जीत गए नेता जी ,पहुँच गए अपने द्रार ।
द्रार द्रार का रूप है सबका, यहीं है सब की पहचान ॥
लेखक
बलराम बिन्द
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